भारत सनातनियों का देश और हिंदू राष्ट्र उनका अधिकार : शंकराचार्य स्वामी निश्चलानंद सरस्वती
- श्री गोवर्धनमठ पूरीपीठाधीश्वर श्रीमज्जगदगुरु शंकराचार्य स्वामी निश्चलानंद सरस्वती महाराज ने श्री श्याम मंदिर में किया दर्शन एवं धर्मसभा
लखनऊ। श्री गोवर्धनमठ पूरीपीठाधीश्वर श्रीमज्जगदगुरु शंकराचार्य स्वामी निश्चलानंद सरस्वती महाराज ने कहा कि सनातन धर्म ने विज्ञान और वैज्ञानिकों का मार्गदर्शन किया है।सभी के पूर्वज सनातनी वैदिक आर्य हिंदू थे। यह श्रीमद् भागवत और अन्य ग्रंथों के विश्लेषण से साफ हो गया है। उन्होंने कहा कि यह देश सनातनियों का है और हिंदू राष्ट्र उनका अधिकार है।
शंकराचार्य स्वामी निश्चलानंद सरस्वती महाराज शनिवार को लखनऊ में थे। यहां बीरबल साहनी मार्ग स्थित श्री खाटू श्याम मंदिर में महामंत्री रूपेश अग्रवाल ने ऋग्वेद पूर्वामनाय श्री गोवर्धनमठ पूरीपीठाधीश्वर श्रीमज्जगदगुरु शंकराचार्य स्वामी निश्चलानंद सरस्वती महाराज की चरण वंदन करते हुए फूलों की वर्षा कर स्वागत किया। यहां पर कार्यक्रम के दौरान शंकराचार्य स्वामी निश्चलानंद सरस्वती महाराज ने दर्शन और धर्मसभा ने हिंदू राष्ट्र की संकल्पना को साकार करने पर जोर दिया। शंकराचार्य स्वामी निश्चलानंद सरस्वती महाराज ने भक्तों के सनातन धर्म से संबंधित प्रश्नों का उत्तर दिया।
भारत जल्द हिंदू राष्ट्र घोषित हो
उन्होंने कहा कि यह देश सनातनियों का है। हिंदू राष्ट्र उनका अधिकार है, इसलिए भारत को जल्द हिंदू राष्ट्र घोषित किया जाना चाहिए। उन्होंने राम मंदिर, हिंदू राष्ट्र, वर्तमान चुनाव व्यवस्था, धर्मांतरण जैसे विषयों पर अपनी राय रखी। धर्मसभा में शंकराचार्य महाराज ने धर्म, विज्ञान और कई धार्मिक मान्यताओं पर श्रद्धालुओं का मार्गदर्शन किया।
सनातन धर्म को निपटने की सोच रखने वाले विलुप्त हो गए
उन्होंने कहा कि जो सनातन धर्म को नहीं मानता, उनका जीवन खतरे में है। सनातन धर्म ने विज्ञान और वैज्ञानिकों का मार्गदर्शन किया है। सभी के पूर्वज सनातनी वैदिक आर्य हिंदू थे। यह श्रीमद् भागवत और अन्य ग्रंथों के विश्लेषण से साफ हो गया है। सनातन धर्म के सिद्धांत का नेतृत्व करने वाले विकसित हुए हैं, जबकि इसके विपरीत इसे निपटाने की सोच रखने वाले विलुप्त हो गए हैं।
इस अवसर पर अध्यक्ष संजीव अग्रवाल, अनुराग साहू, आशीष अग्रवाल, पंकज मिश्रा, अनिल गुप्ता, अनिल अग्रवाल, लोकेश अग्रवाल, सुधीश गर्ग, अंकुर अग्रवाल, महेश गर्ग, अवधेश अग्रवाल, अतुल अग्रवाल, राधे मोहन अग्रवाल, गणेश अग्रवाल, राजेन्द्र पांडेय गुरु जी, शरद अग्रवाल, मनीष अग्रवाल, सुहेल देव मिश्रा, चैतन्य, प्रफुल जी, दिवाकर मिश्र आदि उपस्थित रहे।

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