'झारखंड टाइगर' CM चंपई सोरेन ने जल, जंगल, जमीन को बचाने की भरी हुंकार



रांची/नई दिल्ली। अलग झारखंड राज्य बनाने के आंदोलन के दौरान सियासत में प्रभावी पहचान बनाने वाले चंपई सोरेन राज्य के नये मुख्यमंत्री बन गए हैं। शुक्रवार को राज्यपाल ने चंपई सोरेन को झारखंड राज्य के मुख्यमंत्री के पद की शपथ दिलाई। अपनों के बीच 'झारखंड टाइगर' के नाम से मशहूर रहे चंपई सोरेन ने शपथ ग्रहण के बाद कहा कि राज्य में शिक्षा, चिकित्सा सहित शहरी और ग्रामीण क्षेत्रों में विकास कार्य करने के साथ जल, जंगल, जमीन को बचाने का दायित्व निभाने की जिम्मेदारी भी पूरी की जाएगी।


सन 1991 में पहली बार निर्दलीय विधायक निर्वाचित हुए चंपई सोरेन झारखंड मुक्ति मोर्चा के संस्थापक सदस्य रहे हैं। झामुमो के संस्थापक पूर्व मुख्यमंत्री शिबू सोरेन के भरोसेमंद साथियों में रहे चंपई सोरेन पूर्व की सरकार में मंत्री का दायित्व संभाल चुके हैं। वह भारतीय जनता पार्टी के साथ भी सियासत में रहे हैं। झारखंड के वर्तमान मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन के भी करीबी चंपई सोरेन मिलनसार और सहज नेताओं में गिने जाते हैं। साफ सुथरी छवि के चंपई सोरेन के साथ 2 फरवरी को राजभवन में आलमगीर आलम और सर्वानंद भोक्ता ने भी मंत्री पद की शपथ ली। विश्वास मत हासिल होने के बाद मंत्रिमंडल विस्तार की उम्मीद जताई जा रही है।

झामुमो के सहयोगी दल कांग्रेस के अलावा राष्ट्रीय जनता दल का भी समर्थन चंपई सोरेन सरकार को हासिल है। शाम को मुख्यमंत्री चंपई सोरेन राज्य में भारत जोड़ो न्याय यात्रा लेकर पहुंचे कांग्रेस नेता राहुल गांधी की सभा में भी शामिल हुए। इस बीच महागठबंधन के विधायकों अपने पाले में बनाए रखने के लिए दिन में चार्टर्ड प्लेन से हैदराबाद भेज दिया गया। तेलंगाना की राजधानी हैदराबाद में मौजूद सभी विधायक विश्वास मत हासिल करने वाले दिन रांची ले जाये जाएंगे।

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